RBSE Solutions for Class 12 Biology Chapter 32 मानव में निषेचन
RBSE Solutions for Class 12 Biology Chapter 32 मानव में निषेचन
Rajasthan Board RBSE Class 12 Biology Chapter 32 मानव में निषेचन
RBSE Class 12 Biology Chapter 32 पाठ्य पुस्तक के प्रश्न एवं उत्तर
RBSE Class 12 Biology Chapter 32 बहुविकल्पीय प्रश्न
प्रश्न 1.
निषेचन में फर्टिलाइजिन-एण्टिफर्टिलाइजिन क्रिया का महत्त्व हैं-
(अ) युग्मकों को आपस में आकर्षित करना
(ब) शुक्राणुओं का संरक्षण
(स) समान जाति के युग्मकों में समेकन करना
(द) उपरोक्त सभी
उत्तर:
(स) समान जाति के युग्मकों में समेकन करना
प्रश्न 2.
निषेचन कहते हैं-
(अ) नर एवं मादा प्राक्केन्द्रकों का समेकन
(ब) दो युग्मकों का समेकन
(स) एक ही जाति के दो युग्मकों का समेकन
(द) उपरोक्त सभी।
उत्तर:
(स) एक ही जाति के दो युग्मकों का समेकन
प्रश्न 3.
निषेचन के समय शुक्राणु के शीर्ष का वह भाग जो अण्डाणु के सम्पर्क में आता है-
(अ) एक्रोमियोन
(ब) एक्रोमिगली
(स) एक्रोनिया
(द) अग्रपिण्डक
उत्तर:
(द) अग्रपिण्डक
प्रश्न 4.
शुक्राणु अग्रपिण्डक द्वारा स्रावित एन्जाइम है-
(अ) हाइल्युरोनिडेज
(ब) पेप्सिन
(स) कार्बोक्सिलेज
(द) डी. हाइड्रोजीनेडा
उत्तर:
(अ) हाइल्युरोनिडेज
प्रश्न 5.
मनुष्यों के शुक्राणु जब योनि स्राव के सम्पर्क में आते हैं, तो इनमें निषेचन की क्षमता आती है। यह क्रिया कहलाती है-
(अ) कार्टिकल क्रिया
(ब) योग्यतार्जन
(स) एक्रोसोम क्रिया
(द) सन्निकटन
उत्तर:
(ब) योग्यतार्जन
प्रश्न 6.
शुक्राणुगमन के समय ऊर्जा संरक्षण का कार्य करने वाले पदार्थ-
(अ) एन्ड्रोगैमोन-I
(ब) एन्ड्रोगैमोन–II
(स) गाइनोगैमोन-I
(द) गाइनोगैमोन-II
उत्तर:
(अ) एन्ड्रोगैमोन-I
प्रश्न 7.
मादा मानव में निषेचन स्थल है-
(अ) योनि
(ब) शुक्रग्राही
(स) गर्भाशय
(द) फैलोपियन नलिकाएँ
उत्तर:
(द) फैलोपियन नलिकाएँ
प्रश्न 8.
स्त्रीयुग्मोन किसके द्वारा स्रावित होते हैं?
(अ) अण्डाणु द्वारा
(ब) शुक्राणु पूर्व
(स) ग्रेफियन पुटिका कोशिकाओं द्वारा
(द) अण्डाशय द्वारा
उत्तर:
(अ) अण्डाणु द्वारा
प्रश्न 9.
शुक्राणु गति करता है-
(अ) पूँछ द्वारा
(ब) शीर्ष द्वारा।
(स) अग्रपिण्डक (एक्रोसोम) द्वारा
(द) मध्य भाग द्वारा।
उत्तर:
(अ) पूँछ द्वारा
प्रश्न 10.
अनिषेचन अण्डे का परिवर्धन कहलाता है-
(अ) रूपान्तरण
(ब) कायान्तरण
(स) मोफँजिनेसिस
(द) अनिषेक जनन
उत्तर:
(अ) रूपान्तरण
RBSE Class 12 Biology Chapter 32 अतिलघूत्तरात्मक प्रश्न
प्रश्न 1.
निषेचन क्रिया में फर्टिलाइजिन मत किसने दिया था?
उत्तर:
एफ.आर.लिली ने।
प्रश्न 2.
फर्टिलाइजिन कहाँ उपस्थित होता है?
उत्तर:
फर्टिलाइजिन अण्डाणु द्वारा स्रावित तथा उस पर उपस्थित एक रासायनिक स्राव होता है।
प्रश्न 3.
ऐक्रोसोम क्रिया का अध्ययन किस वैज्ञानिक ने किया था ?
उत्तर:
ल्यूवेन हाँक ।
प्रश्न 4.
निषेचने की परिभाषा लिखें।
उत्तर:
निषेचन (Fertilization)
परिभाषा-”अगुणित नर युग्मक अथवा शुक्राणु तथा अगुणित मादा युग्मक अथवा अण्डाणु के संलयन को निषेचन कहते हैं। ”
निषेचन के परिणामस्वरूप द्विगुणित युग्मनज (Zygote) का निर्माण होता है।
प्रश्न 5.
अनिषेक जनन क्या होता है?
उत्तर:
किसी अण्डाणु या मादा युग्मक का बिना निषेचन ही नये जीव का निर्माण करना अनिषेक जनन कहलाता है। यह प्रक्रिया जन्तुओं एवं पादपों दोनों में पायी जाती है। जैसे—मधुमक्खी, कुछ विशेष प्रकार की छिपकलियों कुछ पादपों आदि में।
प्रश्न 6.
उभयमिश्रण क्या होता है?
उत्तर:
जिस समय निषेचन की क्रिया होती है, उस समय नर व मादा युग्मकों के संयोग व प्राक्केन्द्रकों (Pronuclei) का संलयन होता है। इसी अवस्था में नर तथा मादा युग्मकों के दो गुणसूत्र समुच्चय के मिश्रण की क्रिया होती है, जिसे उभयमिश्रण (Amphimixis) कहते हैं।
प्रश्न 7.
अण्डाणु का सक्रियण क्या होता है?
उत्तर:
शुक्राणु के अण्डे में प्रवेश करने के तुरन्त बाद ही, अण्डे में अन्य शुक्राणुओं के प्रवेश को रोकने के लिये वल्कुटी अभिक्रिया होती है। जिससे अण्डे की प्लाज्मा झिल्ली के बीच के रासायनिक पदार्थ की उपापचयी क्रियाओं को सक्रिय कर देते हैं, जिससे अण्डे में निम्नलिखित सक्रियण प्रारम्भ हो जाते हैं।
- अण्डे की सतह पर निषेचन शंकु का निर्माण हो जाता है।
- विटेलाइन झिल्ली बढ़कर निषेचन कला (Fertilization membrane) में परिवर्तित हो जाती है।
- कोशाद्रव्य में गति होने के साथ ही प्लाज्मा झिल्ली की पारगम्यता भी बढ़ जाती है।
- प्रोटीन संश्लेषण अधिकता में होने लगता है।
- अण्डे में समसूत्री विभाजन प्रारम्भ हो जाता है।
प्रश्न 8.
योग्यतार्जन क्रिया क्या होती है?
उत्तर:
मैथुन के पश्चात् स्खलित शुक्राणु अण्ड को निषेचित करने के लिये शुक्र द्रव में तैरते रहते हैं। ये शुक्राणु मादा गर्भाशय में प्रवेश के कुछ समय बाद तक निषेचन करने में सक्षम होते हैं। इस प्रकार से अपनी ही जाति के अण्ड (Ovum) को निषेचित करने की क्षमता को शुक्राणु की योग्यतार्जन (Capicitation) क्रिया कहते हैं।