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PSEB Solutions for Class 9 Computer Chapter 3 एम०एस० एक्सल (भाग-1)

PSEB Solutions for Class 9 Computer Chapter 3 एम०एस० एक्सल (भाग-1)

PSEB 9th Class Computer Solutions Chapter 3 एम०एस० एक्सल (भाग-1)

जान-पहचान. (Introduction)

माइक्रोसॉफ्ट एक्सल स्प्रेडशीट प्रोग्राम है जिसका प्रयोग विभिन्न प्रकार का डाटा संभालने तथा विश्लेषण करने के लिए किया जाता है। इसमें किसी भी स्कूल का रिज़ल्ट, कंपनी की वार्षिक रिपोर्ट, आदि तैयार की जा सकती है। माइक्रोसॉफ्ट एक्सल पैकेज में वह सारे कार्य कर सकते हैं जोकि डाटा विश्लेषण के लिए ज़रूरी होते हैं। माइक्रोसॉफ्ट एक्सल का कार्यक्षेत्र रोअ तथा कॉलम में विभाजित होता है। स्क्रैडशीट का प्रयोग डाटा की निगरानी तथा विश्लेषण करने के लिए किया जाता है I

माइक्रोसॉफ्ट एक्सल के साथ जान-पहचान (Introduction of MS Excel)

माइक्रोसॉफ्ट एक्सल माइक्रोसॉफ्ट कंपनी का उत्पाद है। यह एक स्प्रेडशीट प्रोग्राम है जिसका प्रयोग संख्यात्मक आंकड़ों को संगठित करने तथा गणनाएं करने के लिए किया जाता है। इसके प्रयोग से डाटा को रोअ तथा कॉलम के रूप में प्रबंधित किया जाता है। डाटा को आसानी से अपनी आवश्यकतानुसार पेश किया जा सकता है। एक्सल में बहुत-सी ऑटोमैटिक कार्य भी किए जा सकते हैं। इसमें किसी भी स्टाइल लेआऊट में अपना डाटा फॉर्मेट किया जा सकता है। एक्सल कई प्रकार के चार्ट तथा ग्राफ बनाने की सुविधा भी प्रदान करता है।

एम०एस० एक्सल की विशेषताएं (Features of MS Excel)

एम०एस० एक्सल की निम्नलिखित विशेषताएं हैं-
  1. आसान डाटा विश्लेषण – एम० एस० एक्सल बहुत ही बढ़िया तकनीकी टूल प्रदान करता है। इनकी सहायता से डाटा का विश्लेषण बहुत आसानी से किया जा सकता है। इन टूल्ज़ में शामिल हैं-सोटिंग फिल्टरिंग चार्ट, पायलट टेबल्स, गोल सीक आदि ।
  2. कंडीशनल फॉर्मेटिंग – एक्सल में विभिन्न प्रकार के डाटा को अपने नियमों तथा शर्तों के आधार पर फॉर्मेट किया जा सकता है । यह डाटा तथा जानकारी के तथ्यों को विशेष तौर पर दर्शाने में मदद करता है l
  3. डाटा वैलिडेशन – इस विशेषता की सहायता से डाटा को कुछ मापदंडों के आधार पर परिभाषित किया जा सकता है तथा इनपुट किए गए डाटा की वैलिडेट भी किया जा सकता है ।
  4. डाटा को सेव करने तथा ढूंढने में आसानी – एक्सल में डाटा एंटर करने की कोई सीमा नहीं है। जो भी डाटा एक्सल में एंटर किया जाता है, उसको बड़ी आसानी से सेव किया जा सकता है। अधिक डाटा होने की सूरत में डाटा को ढूंढने के लिए भी कई प्रकार की तकनीक दी जाती है।
  5. फार्मूले का प्रयोग – एक्सल में डाटा विश्लेषण करने के लिए कई प्रकार के फंक्शन तथा फार्मूले दिए गए हैं। यूज़र अपनी आवश्यकता अनुसार अपने फार्मूले भी तैयार कर सकता है, जिनके साथ कार्य करना आसान हो जाता है तथा इसमें समय भी कम लगता है ।
  6. डाटा प्रोटेक्शन – एक्सल की शीटों को विभिन्न प्रकार के पासवर्ड लगा कर डाटा को अनऑथराइज्ड यूज़र से सुरक्षित किया जा सकता है।
  7. संगठित डाटा – विभिन्न प्रकार के डाटा को अलग-अलग स्प्रेडशीट में सेव करने से यह सुविधाजनक हो जाता है तथा उसका विश्लेषण करना भी आसान हो जाता है ।

एम०एस० एक्सल के आम प्रयोग (Common Uses of MS Excel)

एम०एस० एक्सल के आम प्रयोग निम्न अनुसार हैं –
  1. एक्सल का प्रयोग गणितीय गणना करने के लिए किया जाता है ।
  2. एक्सल में डाटा को चार्ट तथा अन्य ग्राफिकल रूप में प्रदर्शित किया जा सकता है ।
  3. एक्सल में स्कूल की समय-सारणी तैयार की जा सकती है।
  4. एक्सल में किसी भी कंपनी के कर्मचारियों की तनख्वाह की गणना की जा सकती है।
  5. विद्यार्थियों के नतीजे भी एक्सल में आसानी से तैयार किए जा सकते हैं ।
  6. एक्सल में किसी भी प्रकार का डाटा स्टोर और उस पर गणनाएं की जा सकती हैं।

एम०एस० एक्सल को कैसे स्टार्ट करें ? (How to Start MS Excel ?)

एम०एस० एक्सल को स्टार्ट करने के कई तरीके हैं। नीचे दिए गए किसी भी तरीके का प्रयोग करके एम०एस० .एक्सल को स्टार्ट किया जा सकता है ।
स्टार्ट (Start ) → ऑल प्रोग्राम (All Programs) → माइक्रोसॉफ्ट ऑफिस (Microsoft Office) → माइक्रोसॉफ्ट ऑफिस एक्सल 2010 (Microsoft Office Excel 2010)
या
सर्च बार में एक्सल टाइप करो । एक्सल प्रोग्राम मेन मैन्यू में दिखाई देगा | इस एक्सल प्रोग्राम पर सीधा क्लिक करके भी एक्सल को स्टार्ट किया जा सकता है ।
किसी भी ढंग से एक्सल को स्टार्ट करने के बाद एम०एस० एक्सल की मुख्य विंडो दिखाई देगी।

एम०एस० एक्सल विंडो के विभिन्न भाग (Different Components of MS Excel Window)

एम०एस० एक्सल विंडो के विभिन्न भाग होते हैं जिनका वर्णन इस प्रकार है –
1. क्विक एक्सेस टूलबार (Quick Access Toolbar) — क्विक एक्सेस टूलबार विंडो के सबसे ऊपर बाएं तरफ दिखाई देता है। इसका उद्देश्य एक्सल में प्रयोग होने वाली अधिकतर कमांडों को प्रदर्शित करना होता है। अपनी आवश्यकतानुसार टूल में बदलाव कर सकते हैं। साधारणतया इस टूल में तीन या चार बटन दिखाई देते हैं।
2. टाइटल बार (Title Bar) – टाइटल बार एक्सल विंडो के सबसे ऊपर दिखाई देता है। अक्सर यह नीले W रंग का होता है। लगभग सभी प्रकार की एप्लीकेशन में यह एक समान होता है। इसमें खोली गई फाइल का नाम तथा खुली हुई एप्लीकेशन का नाम दिखाई देता है।
3. कंट्रोल बटन (Control Buttons) – कंट्रोल बटन एक्सल विंडो के सबसे ऊपर की तरफ दिखाई देते हैं। यह तीन बटनों का समूह होता है जिनमें मैक्सिमाइज बटन, मिनिमाइज बटन तथा क्लोज बटन शामिल होते हैं।
4. फाइल टैब (File Tab) – एम० एस० एक्सल की यह टैब फाइल को दर्शाती है। इसमें फाइल से संबंधित कुछ कमांडें होती हैं। इस मैन्यू में मौजूद मुख्य कार्य होते हैं – नया एक्सल दस्तावेज़ तैयार करना, एक मौजूदा फाइल को खोलना, खुली हुई फाइल को सेव करना, खुली हुई फाइल को किसी अन्य नाम से सेव करना, फाइल को एक्सपोर्ट करना तथा फाइल को प्रिंट करना आदि ।
5. टैबज़ (Tabs) – एक्सल में टाइटल बार के नीचे कुछ टैबज़ दिखाई देती हैं। इन टैबज़ को मैन्यू बार भी कहा जाता है। इन टैब्ज़ में फाइल, होम, इंसर्ट, पेज लेआऊट, फार्मूले, डाटा, रिव्यू, व्यू आदि मैन्यू बार में शामिल होते हैं। ये मैन्यू की उप श्रेणियां होती हैं जो विभिन्न टूल्ज़ तथा कमांड को श्रेणीबंध करती हैं।
6. रिबन / टूल बार (Ribbon / Toolbar) – रिबन कमांड की एक सीरीज़ होती है जो एक मैन्यू का हिस्सा होती है। जब भी इस टैब में मैन्यू के ऊपर क्लिक किया जाता है तो उससे संबंधित रिबन दिखाई देता है जिसमें विभिन्न प्रकर की कमांडें प्रदर्शित की जाती हैं। इन कमांड्ज़ को विभिन्न ग्रुपों में विभाजित किया गया होता है। टूलबार तीन भागों को समूह कमांडज़ में व्यवस्थित करते हैं । ये निम्न अनुसार हैं :-
(i) टैबज़ (Tabs) – यह रिबन के ऊपर वाला भाग होता है, जिसमें संबंधित कमांड्ज़ में समूह होते हैं। होम, पेज, लेआऊट, इंसर्ट, फार्मूला, डाटा, रिव्यू आदि टैबज़ की उदाहरणें हैं।
(ii) ग्रुप (Group) – यह संबंधित कमांड का एक समूह होता है। प्रत्येक समूह का नाम रिबन के नीचे दिखाई देता है। उदाहरण के तौर पर फोन से संबंधित कमांड का ग्रुप या एलाइनमैंट से संबंधित कमांड्ज़ का ग्रुप।
(iii) कमांड (Command) — इसके अंदर ऊपर दिए गए ग्रुप से संबंधित कमांडें दिखाई देती हैं।
7. डायलॉग बॉक्स लांचर (Dialog Box Launcher) – यह एक छोटा-सा तीर का निशान होता है जो रिबन के ऊपर किसी भी कमांड ग्रुप के निचले दाएं तरफ दिखाई देता है । इस पर क्लिक करने से उस ग्रुप से संबंधित और विकल्प दिखाई देते हैं । यह विकल्प आमतौर पर एक डायलॉग बॉक्स में दिखाई देते हैं ।
8. नेम बॉक्स (Name Box) — नेम बॉक्स फार्मूला बार के बाएं तरफ का पहला भाग होता है। इसमें एक्टिव सैल, रोअ या कॉलम का पता दिखाई देता है । इस बॉक्स का प्रयोग चुने हुए सैल को एक नाम देने के लिए भी किया जाता है।
9: फार्मूला बार (Formula Bar) – यह बार नेम बॉक्स के दाईं तरफ दिखाई देता है। इसमें चुने हुए सैल की सामग्री जहां फार्मूला दिखाई देता है इस बार का प्रयोग उस सामग्री को एडिट करने के लिए भी किया जाता है। यह बार अक्सर रिबन के नीचे दिखाई देता है ।
10. स्क्रोलबार (Scrollbar) — स्क्रोलबार हमारी स्प्रेडशीट के नीचे तथा दाईं ओर दिखाई देते हैं । ये दो प्रकार के होते हैं- हॉरिजॉन्टल तथा वर्टिकल । इनका मुख्य काम कार्य क्षेत्र को ऊपर-नीचे तथा दाएं-बाएं खिसकाना होता है।
11. स्प्रैडशीट एरिया (Spreadsheet Area ) – स्प्रेडशीट एरिया कार्य विभाग होता है जिसमें सारा डाटा दाखिल किया जाता है। यह रोअ तथा कॉलम में विभाजित होता है। रोअ तथा कॉलम के काट क्षेत्र को सैल कहा जाता है। इन सैल में ही सारा डाटा, फार्मूले दाखिल किए जाते हैं तथा इन्हीं सैल की मदद से डाटा का विश्लेषण किया जाता है। रोअ को 1, 2, 3 आदि नंबर से प्रदर्शित किया जाता है तथा कॉलम को अंग्रेज़ी के शब्द A, B, C आदि से प्रदर्शित किया जाता है। रोअ कार्य क्षेत्र के बाईं तरफ दिखाई देती हैं तथा कॉलम कार्य क्षेत्र के ऊपर दिखाई देते हैं। एक्टिव सैल स्प्रैडशीट में एक बोल्ड आयताकार क्षेत्र होता है तथा यह चुने हुए सैल को प्रदर्शित करता है। एडिटिंग मोड में इसी सैल में टिमटिमाती डंडी, जिसको कर्सर कहते हैं, दिखाई देती है। यह दर्शाती है कि यदि टाइपिंग की जाएगी तो उसके स्थान पर उसका रिज़ल्ट दिखाई देगा।
12. लीफ बार (Leaf Bar) — एक्सल के सबसे नीचे भाग में फाइल में उपलब्ध सारी स्प्रेडशीट के नाम दिखाई देते हैं। इस भाग को लीफ बार कहा जाता है। आमतौर पर ऐसी एक्सल फाइल खोलने पर उसमें तीन स्प्रैडशीट प्रदर्शित होती हैं। यूज़र अपनी आवश्यकता अनुसार इन स्प्रेडशीट को बड़ा तथा कम कर सकता है। इन स्प्रेडशीट के नाम भी बदले जा सकते हैं ।
13. स्टेटस बार ( Status Bar) – स्टेटस बार एक्सल विंडो के सबसे नीचे भाग में होता है। यह हमारी वर्कशीट की मौजूदा स्थिति को दर्शाता है। इसमें बहुत ही महत्त्वपूर्ण जानकारी दिखाई देती है। एक्सल स्क्रीन का यह क्षेत्र यदि कुछ गलत हो या दस्तावेज़ प्रिंट करने के लिए तैयार हो उनसे संबंधित जानकारी भी दिखाता है। स्टेटस बार हमारी सेटिंगज़ के अनुसार हमें कुछ मुख्य कार्य जैसे कि जोड़ औसत, गिनती, अधिकतम, न्यूनतम आदि भी प्रदर्शित कर सकते हैं। इस बार के ऊपर माऊस का दायां बटन क्लिक करके स्टेटस बार की सेटिंग में बदलाव किये जा सकते हैं।
14. व्यू बटन (View Button ) – यह तीन बटनों का समूह होता है जो एक्सल विंडो के निचले भाग में दाईं ओर दिखाई देते हैं। इनका मुख्य उद्देश्य एक्सल शीट के कार्य क्षेत्र को अपनी आवश्यकता अनुसार विभिन्न स्टाइल में दिखाने के लिए होता है । यह व्यू बटन निम्न अनुसार होते हैं-
(i) नॉर्मल व्यू (Normal View) — यह बटन एक्सल स्प्रेडशीट को नार्मल रूप में प्रदर्शित करता है ।
(ii) पेज लेआऊट व्यू (Page Layout View) – यह एक स्प्रेडशीट को उस रूप में प्रदर्शित करता है जिस रूप में वह प्रिंट होगी ।
(iii) पेज ब्रेक व्यू ( Page Break View ) – यह व्यू पेज लेआऊट को आसानी से व्यवस्थित करने के लिए प्रिंट से पहले पेज ब्रेक प्रीव्यू में दिखाता है ।
15. ज़ूम कंट्रोल (Zoom Control) – ज़ूम कंट्रोल एक्सल विंडो के निचले दाईं तरफ होता है। यह एक स्लाइडर होता है। इसका मुख्य काम कार्य क्षेत्र को ज़ूम इन तथा जूम – आऊट करना होता है। इसके साथ मैग्नीफायर का एक चिन्ह भी दिखाई देता है, जिसके साथ मैक्सीमाइजिंग लिए (+) तथा मिनीमाइजिंग लिए (-) के चिन्ह दिखाई देते हैं। इनका प्रयोग करके हम अपने कार्य क्षेत्र को बड़ा या छोटा कर सकते हैं। यह बदलाव सिर्फ कंप्यूटर स्क्रीन पर देखने के लिए होता है। प्रिंटिंग के दौरान इसका प्रभाव नहीं दिखाई देता ।
16. एक्टिव सैल (Active Cell) – एक एक्टिव सैल स्प्रेडशीट का वह सैल होता है जिस पर यूज़र किसी वक्त कार्य कर रहा होता है। एक्टिव सैल हमेशा एक बोल्ड आयताकार बॉक्स के रूप में दिखाई देता है । इसका कंटेंट ऊपर, फार्मूला बार में दिखाई देता है ।

एम०एस० एक्सल में प्रयोग होने वाली शब्दावली (MS Excel Terminology )

माइक्रोसॉफ्ट एक्सल में प्रयोग होने वाले शब्द निम्नानुसार हैं-
1. वर्कबुक (Workbook) — एक्सल की फाइल को वर्कबुक कहते हैं । यह वर्कशीटों का समूह होती है। प्रत्येक वर्कबुक में मुख्य रूप से तीन वर्कशीटें होती हैं। इसमें अपनी आवश्यकतानुसार और वर्कशीटें भी जोड़ी जा सकती हैं।
2. वर्कशीट (Worksheet) – वर्कशीट एम० एस० एक्सल का एक पेज होती है। इसमें रोअ तथा कॉलम होते हैं। एक्सल में सारा कार्य इन वर्कशीटों में ही किया जाता । अपनी आवश्यकतानुसार इन वर्कशीटों को बढ़ाया तथा घटाया जा सकता है ।
3. रोअ (Row) — रोअ एक साथ जुड़े हुए विभिन्न सैलों का समूह होता है। किसी भी रोअ को एक नंबर के साथ दर्शाया जाता है। यह नंबर एक्सल वर्कशीट के बाएं तरफ दिखाई देते हैं। रोअ के नंबर 1, 2, 3… की तरह होते हैं ।
4. कॉलम (Colomn) – कोई भी कॉलम वर्टीकल एक साथ लगते सैलों का समूह होता है परंतु यह समूह आयताकार आकार में होता है। किसी भी कॉलम को A, B, C, D अल्फाबेट का नाम दिया जाता है। एक कॉलम को आमतौर पर एक फील्ड के तौर पर दर्शाया जाता है। एक्सल में आवश्यकता अनुसार कॉलम बढ़ाए जा सकते हैं ।
5. सैल (Cell) – किसी भी रोअ तथा कॉलम के काट क्षेत्र को सैल कहते हैं । यह एक आयताकार हिस्सा होता है, इसमें ही सारा डाटा दाखिल किया जाता है। प्रत्येक सैल का अपना एक विशेष एड्रैस होता है। इसका प्रयोग करके उस सैल तक पहुंचा जा सकता है। इसका प्रयोग फार्मूले तथा फंक्शन में भी किया जाता है।
6. एक्टिव सैल (Active Cell) – एक्टिव सैल स्प्रेडशीट का वह सैल होता है जिस पर कोई यूज़र किसी वक्त कार्य कर रहा होता है। यह एक बोल्ड आयताकार बॉक्स के रूप में दिखाई देता है। इसका सारा कंटेंट ऊपर फार्मूला बार में दिखाई देता है। किसी एक्टिव सैल का कंटेंट फार्मूला बार तथा उस सैल दोनों स्थान पर एडिट किया जा सकता है।
7. सैल एड्रैस (Cell Address ) – एक्सल में प्रत्येक सैल का एक विलक्षण एड्रैस होता है। यह एड्रैस उस सैल को बनाने वाले कॉलम तथा रोअ के नाम को जोड़कर बनाया जाता है। इस एड्रैस का प्रयोग एक्सल में प्रयोग होने वाले फार्मूले तथा फंक्शन में किया जाता है।

वर्कबुक तथा वर्कशीट में अंतर (Comparison between Workbook and Worksheet)

वर्कबुक तथा वर्कशीट में निम्नलिखित अंतर होते हैं –
वर्कबुक (Workbook) वर्कशीट (Worksheet)
1. वर्कबुक एम०एस० एक्सेल की बनाई गई एक फाइल होती है।
2. इसमें कई वर्कशीटें शामिल होती हैं ।
3. एक वर्कबुक के अंदर बहुत सारी वर्कशीटें हो सकती हैं ।
4. प्रत्येक वर्कबुक को .xlsx एक्सटेंशन के साथ सेव किया जा सकता है ।
5. वर्कबुक का प्रयोग विभिन्न किस्मों की वर्कशीटों को एक फाइल के रूप में सेव करने के लिए किया जाता है।
6. यह आकार में बड़ी होती है ।
7. प्रत्येक वर्कबुक की एक एक्सटेंशन (.xlsx) होती है ।
1. वर्कशीट एम०एस० एक्सेल की स्प्रेडशीट को दर्शाती है।
2. इसमें रोअ तथा कॉलम शामिल होते हैं ।
3. वर्कशीट के अंदर कोई वर्कबुक मौजूद नहीं हो सकती क्योंकि वर्कशीट वर्कबुक का एक हिस्सा होती है ।
4. वर्कबुक के बिना किसी भी वर्कशीट को सेव नहीं किया जा सकता।
5. वर्कशीट का प्रयोग डाटा को दूर करने के लिए किया जाता है ।
6. यह आकार में छोटी होती है ।
7. वर्कशीट की कोई एक्सटेंशन नहीं होती।

एक्सल वर्कशीट में डाटा के साथ कार्य करना (Working with Data in Excel-Worksheets)

हम एम० एस० एक्सल में बहुत से कार्य कर सकते हैं –

वर्कशीट के आधारभूत कार्य (Basic Functioning in Worksheet)

एक्सल की वर्कशीट में किए जाने वाले बहुत से कार्य निम्न अनुसार हैं –
एक्सल शीट में कई आधारभूत कार्य किए जा सकते हैं। ये सारे कार्य वर्कशीट के अंदर किए जाते हैं। इन कार्यों का वर्णन निम्न अनुसार किया गया है-
  1. डाटा एंट्री करना (Entering Data) – एक्सल की वर्कशीट में किसी भी किस्म में डाटा दाखिल किया जा सकता है। सैल में नया डाटा एंटर करने के लिए सबसे पहले करसर को उस स्थान / सैल पर ले जाया जाता है, जिसमें डाटा दाखिल करना है । उसको क्लिक करने के बाद सीधा कीअ – बोर्ड की मदद से उसमें डाटा टाइप किया जा सकता है। डाटा टाइप होने की प्रक्रिया खत्म होते ही एंटर कीअ दबाने से सैल में डाटा टाइप हो जाता है । इसके बाद अगले सैल में डाटा टाइप किया जा सकता है। इस कार्य के लिए टैब कीअ का प्रयोग भी किया जाता है। यदि हम किसी सैल में एक लंबी लाइन दाखिल करना चाहते हैं तो उसके लिए आल्ट और एंटर कीअ दबाकर डाटा दाखिल किया जा सकता है। एरो कीअ का प्रयोग एक्टिव सैल की स्थिति बदलने के लिए किया जाता है। यदि कोई सैल एडिट मोड में है तो एरो कीअ का प्रयोग करके उस कंटेंट के आगे पीछे जाया जा सकता है। किसी भी सैल को F2 कीअ का प्रयोग करके एडिट मोड शुरू किया जा सकता है। किसी भी सैल के अंदर दो प्रकार का डाटा दाखिल किया जाता है।
    1. फार्मूला या फंक्शन दाखिल करना – एक्सल में गणना करने के लिए फार्मूला या फंक्शन का प्रयोग किया जाता है। किसी फार्मूले या फंक्शन को बराबर (=) का चिन्ह लगाकर दाखिल किया जा सकता है।
    2. फार्मूले या फंक्शन के बिना अन्य डाटा दाखिल करना – एक्सल के सैल में नंबर, टैक्सट, चिन्ह आदि सब कुछ दाखिल किया जा सकता है । इस प्रकार का डाटा दाखिल करने के लिए बराबर का निशान दाखिल नहीं किया जाता । यह डाटा सीधे ही सैल में दाखिल किया जा सकता है।
  2. सैल का डाटा बदलना (Editing a Cell Data) — एक्सल में किसी भी सैल का डाटा आवश्यकतानुसार बदला भी जा सकता है। किसी दाखिल किए हुए डाटा को दो प्रकार से बदला जा सकता है। एक तो उसी सैल में मौजूद रहकर, दूसरा फार्मूला बार में पहले उस सैल को F2 कीअ प्रेस करके एडिट मोड में शुरू किया जाता है। इस कार्य के लिए माऊस के बाएं बटन दो बार भी दबाया जा सकता है। उसके बाद उस सैल में दाखिल डाटा को बदला जा सकता है ।
  3. डाटा डिलीट करना (Deleting Data) – एक्सल में दाखिल किए गए डाटा को डिलीट भी किया जा सकता है। इसके लिए उस सैल का चुनाव किया जाता है, जिसका डाटा डिलीट करना है। डाटा डिलीट करने के लिए कम्प्यूटर से डिलीट कीअ दबाई जा सकती है। उस सैल में दाखिल किया सारा डाटा डिलीट हो जाएगा। यदि सैल में दाखिल किए डाटा से आंशिक डाटा डिलीट करना है तो उस सैल को पहले एडिट मोड में लाना पड़ेगा। फिर उस डाटा को डिलीट किया जा सकता है।
  4. सैल सिलैक्ट करना (Selecting Cells) – किसी भी सैल में डाटा जहां कोई फंक्शन, फार्मूला दाखिल करने के लिए उसे सिलैक्ट करना आवश्यक होता है। सैल का चुनाव करने के लिए माऊस का प्रयोग किया जाता है। जिस सैल का चुनाव करना हो माऊस बटन से उस पर क्लिक करें । एक से ज्यादा सैल का चुनाव करने के लिए शिफ्ट कीअ दबाकर माऊस को ड्रैग किया जा सकता है ।

रोअ या कॉलम में एक प्रकार का डाटा दाखिल करना (Entering Same Data in a Row or a Column)

I. फिल कमांड का प्रयोग करके (Using Fill Command) – एक्सल की फिल कमांड का प्रयोग करके एक प्रकार का डाटा एक से ज्यादा सैल में दाखिल किया जा सकता है । इसके लिए निम्न पगों का प्रयोग किया जाता है-
1. उस सैल का चुनाव करो जिसमें डाटा दाखिल करना है ।
2. मैन्यू पर क्लिक करो तथा उसमें Edit ग्रुप में Fill विकल्प का चयन करो ।
3. इस उद्देश्य के लिए कई प्रकार के विकल्प उपलब्ध हो गए जैसे कि डाऊन, राइट, ॲप, लेफ्ट तथा सीरीज़ आदि ।
4. अपनी आवश्यकता अनुसार विकल्प का चयन करो ।
5. एक्सल में डाटा उस विकल्प के अनुसार भरा जाएगा। इस कार्य के लिए शॉर्टकट कीअज़ का प्रयोग भी किया जा सकता है जो निम्नानुसार है
(i) फिल डाऊन के लिए l Ctrl + D
(ii) फिल राइट के लिए। Ctrl + R.
II. कापी तथा पेस्ट का प्रयोग करके (Using Copy and Paste) — एक्सल में कापी तथा पेस्ट का प्रयोग करके भी एक से ज्यादा सैल में डाटा दाखिल किया जा सकता है। इसके लिए निम्न पगों का प्रयोग किया जाता है—
1. कॉपी किए जाने वाले सैल का चुनाव करें।
2. Home टैब के Clipboard ग्रुप में से Copy विकल्प का चयन करें। इसके लिए Ctrl + C शॉर्टकट कीअ का प्रयोग किया जा सकता है।
3. उस सैल पर क्लिक करें जिसमें डाटा कापी करना है ।
4. Home टैब के Clipboard ग्रुप में से Paste विकल्प का चयन करें। इसके लिए Ctrl + V का भी प्रयोग किया जा सकता है ।
III. फिल हैंडल का प्रयोग करके (Using Fill Handle) – फिल हैंडल विभिन्न कार्य करने के लिए एक बहुत ही बढ़िया विकल्प प्रदान करता है। जिसको फिल हैंडल की मदद से प्रयोग किया जा सकता है। फिल हैंडल किसी भी एक्टिव सैल के आयताकार बॉक्स के दाएं तरफ नीचे कॉर्नर में दिखाई देता है। जब माऊस बटन को इस पर ले जाया जाता है तो उसका आकार बदल जाता है। इसके लिए निम्न पगों का प्रयोग किया जाता है-
1. डाटा को कई सैलों में कापी करने के लिए अपना डाटा एक सैल में दाखिल करो ।.
2. उस सैल का चयन करें जिसमें से डाटा कापी करना है ।
3. उस सैल के फिल हैंडल पर माऊस ले जाकर बायां बटन क्लिक करें तथा उसको आवश्यकता अनुसार किसी भी दिशा में ड्रैग करें।
4. जब फिल हैंडल छोड़ा जाएगा तो डाटा उन सभी सैल में कापी हो जाएगा।

एक्सल वर्कशीट में सीरीज़ के साथ कार्य करना (Working with Series in Excel Worksheets)

सीरीज़ एक विशेष तरह की श्रेणी, पैटर्न या फार्मूले द्वारा दर्शाई जाती है जिसमें एक विशेष तरह का डाटा होता है। एक्सल सैल में दाखिल किए जाने वाले आंकड़ों की श्रेणियों को विशाल भिन्नता प्रदान करता है । इन श्रेणियों में संख्याओं की सीरीज़, महीने का नाम, दिन का नाम तथा दिन की सीरीज़ आदि हो सकते हैं। इन सभी का प्रयोग हैं विभिन्न प्रकार से अपनी आवश्यकतानुसार किया जा सकता है ।
I. महीने या दिन की सीरीज तैयार करना (Series of Month / Day Names) – एक्सल में महीने या दिन की सीरीज़ तैयार करने के लिए फिल हैंडल का प्रयोग किया जा सकता है। इसके लिए निम्न पगों का प्रयोग किया जाता है –
  1. सबसे पहले सैल का चुनाव करें ।
  2. इस सैल में अपनी सीरीज़ का पहला शब्द टाइप करें। उदाहरणतया यदि महीने की शुरुआत करना चाहते हैं तो उस महीने का नाम टाइप करें जिस से शुरुआत करनी है जैसे कि जून । यदि आप दिन की सीरीज़ की शुरुआत करना चाहते हैं तो उस दिन का नाम टाइप करें जैसे कि Tuesday l
  3. फिल हैंडल का प्रयोग करते हुए डाटा को आवश्यकतानुसार दिशा में खींचें।
  4. जैसे-जैसे आप डाटा को खींच ले जाएंगे महीने या दिन की सीरीज़ तैयार होती रहेगी ।
II. नंबरों की सीरीज़ तैयार करना (Series of Numbers) – एक्सल में फिल हैंडल का प्रयोग करते हुए किसी भी प्रकार के नंबरों की सीरीज़ भी तैयार की जा सकती है। इसके लिए निम्नलिखित पगों का प्रयोग किया जाता है –
  1. पहले चरण का चुनाव करके उसमें सीरीज़ का पहला नंबर दाखिल करें।
  2. इसी प्रकार दूसरे तथा तीसरे चरण का चुनाव करके उसमें दूसरा तथा तीसरा नंबर दाखिल करें।
  3. तीनों सैल का माऊस की सहायता से चुनाव करें ।
  4. फिर हैंडल का प्रयोग करते हुए चुने हुए लोगों को आगे दिशा में खींचें।
  5. आपके द्वारा शुरू की गई नंबर सीरीज़ तैयार हो जाएंगी ।

वर्कबुक तथा वर्कशीटों में कार्य करना (Operations on Workbook and Worksheets)

एक्सल में वर्कबुक तथा वर्कशीट में विभिन्न प्रकार के कार्य किए जा सकते हैं। इनमें किए जाने वाले विभिन्न कार्यों का वर्णन नीचे दिया गया है-

वर्कशीट में कार्य करना (Operations on Worksheets)

एक्सल की वर्कशीट से संबंधित कई प्रकार के कार्य होते हैं जिनका प्रयोग आवश्यकता अनुसार किया जा सकता है। इनमें से कुछेक वर्कशीट के कार्यों का वर्णन नीचे दिया गया है ।
(i) नई वर्कशीट दाखिल करना (Inserting New Worksheet) — प्रत्येक वर्कशीट में एक विशेष प्रकार का डाटा स्टोर किया जाता है। एक से ज्यादा प्रकार के डाटा को दूर करने के लिए हमें एक से ज्यादा वर्कशीटों की आवश्यकता हो सकती है। शुरू में एक्सल तीन वर्कशीट उपलब्ध करवाता है परंतु हमें उससे अधिक वर्कशीटों की आवश्यकता भी हो सकती है। इस कार्य के लिए Insert Worksheet विकल्प का प्रयोग किया जाता है। लीफ बार में वर्कशीट पर माऊस ले जाकर माऊस का दायां बटन दबाया जाता है। इससे एक छोटा मैन्यू दिखाई देता है। उसमें इंसर्ट कमांड का प्रयोग करके नई वर्कशीट दाखिल की जा सकती है ।
(ii) वर्कशीट का नाम बदलना (Renaming Worksheet) — कई बार यूज़र को एक्सल में प्रयोग होने वाली “वर्कशीटों के नाम को बदलने की आवश्यकता होती है। उसके लिए हम अपनी आवश्यकतानुसार वर्कशीट का नाम बदल सकते हैं। वर्कशीट का नाम बदलने के लिए निम्नलिखित पगों का प्रयोग किया जाता है-
1. एक्सल विंडो में टूल बार पर जाकर उस वर्कशीट पर माऊस का दायां बटन क्लिक करें जिसका आप नाम बदलना चाहते हैं ।
2. एक छोटा मैन्यू दिखाई देगा उसमें से रिनेम (Rename) विकल्प का चयन करें ।
3. वर्कशीट का नाम एडिट होने लायक हो जाएगा। वर्कशीट में नया नाम दाखिल करें तथा एंटर कीअ दबाएं।
4. वर्कशीट का नाम बदल जाएगा ।
(iii) वर्कशीट को डिलीट करना (Deleting Worksheet)– कई बार हमें किसी वर्कशीट की आवश्यकता नहीं होती। उस वर्कशीट को वर्कबुक में से डिलीट किया जा सकता है। एक्सल में किसी भी वर्कशीट को डिलीट करने के लिए निम्नलिखित पगों का प्रयोग किया जाता है-
1. एक्सल में लीफ बार पर जाकर उस वर्कशीट पर माऊस का दायां बटन क्लिक करें जिसको आप डिलीट करना चाहते हैं ।
2. एक छोटा मैन्यू दिखाई देगा उसमें से Delete विकल्प का चयन करें।
3. चुनी हुई वर्कशीट डिलीट हो जाएगी।
(iv) वर्कशीट को कॉपी करना (Copying a Worksheet ) – वर्कशीट को कापी करना एक आम कार्य जो एक्सल में कई बार किया जाता है। यूज़र को कई बार अपने कार्य के लिए एक वर्कशीट की कई कापियां बनानी पड़ती हैं। इस कार्य को वर्कबुक में रहकर ही किया जा सकता है। इसके लिए निम्नलिखित पंगों का प्रयोग किया जाता है –
1. एक्सल में लीफ बार पर जाकर उस वर्कशीट पर माऊस के दाएं बटन पर क्लिक करो जिसको आप कॉपी करना चाहते हैं ।
2. दिखाई देने वाले मैन्यू में से Move या Copy विकल्प का चयन करें।
3. एक डायलॉग बॉक्स दिखाई देगा।
4. उसके नीचे Create a copy विकल्प का चयन करें।
5. डायलॉग बॉक्स में शीट के स्थान का चुनाव करें ।
6. OK बटन पर क्लिक करें ।

वर्कबुक में कार्य करना (Operations on Workbooks)

एम०एस० एक्सल की वर्कबुक उसकी एक फाइल होती है। इस वर्कबुक में शामिल वर्कशीटों पर कई प्रकार के कार्य किए जा सकते हैं। वर्कबुक पर भी कई प्रकार के कार्य किए जा सकते हैं जैसे कि हम वर्कबुक बना सकते हैं, पहले से बनी वर्कबुक को सेव कर सकते हैं, कोई पहले से बनी हुई वर्कबुक खोल सकते हैं तथा पहले से खुली हुई वर्कबुक को किसी अन्य नाम से सेव कर सकते हैं ।
(i) एक नई वर्कबुक तैयार करना (Creating a New Workbook) – साधारणतया एक नया कार्य करने के लिए एक नई वर्कबुक का प्रयोग किया जाता है । यह कार्य करने के लिए निम्नलिखित पगों का प्रयोग किया जाता है –
1. एक्सल विंडो में File मैन्यू में क्लिक करें एक नया मैन्यू दिखाई देगा।
2. इसमें से New विकल्प पर क्लिक करें ।
3. टैंपलेट की एक सूची दिखाई देगी। उस सूची में से अपनी आवश्यकतानुसार किसी भी टैंपलेट का चुनाव करें।
4. New बटन पर क्लिक करें ।
5. अपने आप एक नई फाइल खुल जाएगी ।
एक्सल में नई फाइल खोलने के लिए Ctrl + N शॉर्टकट कीअ का प्रयोग किया जा सकता है।
(ii) वर्कबुक को सेव करना (Saving Workbook) — एक्सल में कार्य करते समय थोड़े-थोड़े अंतराल पर अपने कार्य को सेव करते रहना बहुत महत्त्वपूर्ण होता है। वर्कबुक को सेव करना एक ऐसा अलग कार्य है जिसको जब पहली बार किया जाता है तो उसके लिए फाइल का नाम पूछा जाता है। उसके बाद जब भी वर्कबुक को सेव किया जाता है तो पहले दिए गए नाम पर ही फाइल को सेव किया जाता है। एक्सल की किसी भी फाइल की एक्सटेंशन .xls या .xlsx होती है। इस कार्य के लिए सेव कमांड का प्रयोग किया जाता है। इसके लिए निम्नलिखित पगों का प्रयोग किया जाता है –
1. एक्सल विंडो में फाइल मैन्यू में क्लिक करें एक नया पेन दिखाई देगा।
2. Save कमांड पर क्लिक करें। Save as डायलॉग बॉक्स दिखाई देगा।
3. उसमें अपनी आवश्यकतानुसार डायरैक्टरी तथा ड्राइव का चयन करें जिसमें आप फाइल को सेव करना चाहते हैं ।
4. अपनी आवश्यकता अनुसार फाइल का नाम टाइप करें ।
5. Save बटन पर क्लिक करें ।
6. एक्सल फाइल को सेव कर देगा ।
एक्सल में फ़ाइल सेव करने के लिए Ctrl + S शॉर्टकट कीअ का प्रयोग भी किया जा सकता है।
(iii) पहले से बनी हुई वर्कबुक को खोलना (Opening an Existing Workbook) — यदि हम एक्सल में पहले से बनी हुई किसीं वर्कबुक पर कार्य करना चाहते हैं तो पहले उस वर्कबुक को खोलने की आवश्यकता होती है। इस कार्य के लिए रीसेंट लिस्ट या ओपन वर्कबुक कमांड का प्रयोग किया जा सकता है । एक्सल में वर्क बुक को खोलने के लिए निम्नलिखित पगों का प्रयोग किया जा सकता है-
1. File टैब पर क्लिक करें, एक पेन दिखाई देगा।
2. उसमें से Open कमांड का चयन करें । एक डायलॉग बॉक्स दिखाई देगा ।
3. उस फोल्डर या डायरैक्टरी में जाएं जहां पर पहले ही फाइल सेव की हुई है ।
4. जिस फाइल को खोलना चाहते हैं, उसका चयन करें ।
5. Open बटन पर क्लिक करें ।
6. एक्सल फाइल खोल देगा ।
एक्सल में फाइल को खोलने के लिए Ctrl + O शॉर्टकट कीअ का भी प्रयोग किया जा सकता है ।

Computer Guide for Class 9 PSEB एम०एस० एक्सल (भाग-1) Textbook Questions and Answers

बहुविकल्पीय प्रश्न :

1. वर्कबुक ………………… का समूह होती है :
(क) सैल
(ख) रोअ
(ग) कॉलम
(घ) वर्कशीट |
उत्तर – (घ) वर्कशीट |
2. एक सैल …………….. तथा ………………. का काट क्षेत्र होता है ।
(क) रोअ, कॉलम
(ख) रोअ, सैल एड्रैस
(ग) कॉलम, फार्मूला बार
(घ) इनमें से कोई भी नहीं ।
उत्तर – (क) रोअ, कॉलम
3. एम० एस० एक्सल में फिल हैंडल ……………… के लिए प्रयोग किया जाता है ।
(क) सैल कंटेंट को कॉपी करने के लिए
(ख) नंबर सीरीज़ भरने के लिए
(ग) कस्टम सीरीज़ भरने के लिए
(घ) उपरोक्त सभी
उत्तर – (घ) उपरोक्त सभी
4. एक्सल की फाइल की एक्सटेंशन ……………… होती है ।
(क) doc/.docx
(ख) .xls/.xlsx
(ग) .ppt/.pptx
(घ).txt.
उत्तर – (ख) .xls/.xlsx
5. निम्न में से कौन-सा व्यू एक्सल में मौजूद नहीं होता ?
(क) पेज लेआऊट .
(ख) पेज ब्रेक व्यू
(ग) नॉर्मल
(घ) उपरोक्त में से कोई भी नहीं ।
उत्तर – (घ) उपरोक्त में से कोई भी नहीं ।

निम्न कार्यों के लिए प्रयोग होने वाले शॉर्टकट कीअ लिखें :

1. एम०एस० एक्सल में पहले से बनी हुई फाइल को खोलना
उत्तर – Ctrl + O
2. एम०एस० एक्सल में फाइल को सेव करना
उत्तर – Ctrl + S
3. एम०एस० एक्सल में नई फाइल बनाना
उत्तर – Ctrl + N
4. एम०एस० एक्सल में डाऊन फिल करना
उत्तर – Ctrl + D
5. एम०एस० एक्सल में राइट फिल करना
उत्तर – Ctrl + R
6. एम०एस० एक्सल में कापी करने
उत्तर – Ctrl + C
7. एम०एस० एक्सल में पेस्ट करना
उत्तर – Ctrl + V

सही/ग़लत:

1. एक्टिव सैल का एड्रैस हमेशा नेम बॉक्स में दिखाई देता है ।
उत्तर – सही
2. एम०एस० एक्सल में सभी कॉलम 1 से शुरू होने वाले नंबर द्वारा दर्शाए जाते हैं।
उत्तर – गलत
3. फार्मूला वाला सैल हमेशा फार्मूले का नतीजा सैल में प्रदर्शित करता है जबकि फॉर्मूला फॉर्मूला बार में दिखाई देता है ।
उत्तर – सही
4. एम०एस० एक्सल एक साधारणतया प्रयोग होने वाला वर्ड प्रोसैस है ।
उत्तर – गलत
5. हम फिल हैंडल का प्रयोग करके एम०एस० एक्सल में नंबर सीरीज़ भर सकते हैं।
उत्तर – सही

छोटे उत्तरों वाले प्रश्न :

प्रश्न 1. एम० एस० एक्सल को परिभाषित करो ।
उत्तर—माइक्रोसॉफ्ट एक्सल माइक्रोसॉफ्ट कंपनी का उत्पाद है। यह एक स्प्रेडशीट प्रोग्राम है जिसका प्रयोग संख्यात्मक आंकड़ों को संगठित करने तथा गणनाएं करने के लिए किया जाता है। इसके प्रयोग से डाटा को रोअ तथा कॉलम के रूप में प्रबंधित किया जाता है । डाटा को आसानी से अपनी आवश्यकतानुसार पेश किया जा सकता है। एक्सल में बहुत-से ऑटोमैटिक कार्य भी किए जा सकते हैं। इसमें किसी भी स्टाइल लेआऊट में अपना डाटा फॉर्मेट किया जा सकता है। एक्सल कई प्रकार के चार्ट तथा ग्राफ बनाने की सुविधा भी प्रदान करता है।
प्रश्न 2. एम० एस० एक्सल के क्या-क्या प्रयोग हैं ?
उत्तर – एम०एस० एक्सल के आम प्रयोग निम्न अनुसार हैं –
  1. एक्सल का प्रयोग गणितीय गणना करने के लिए किया जाता है ।
  2. एक्सल में डाटा को चार्ट तथा अन्य ग्राफिकल रूप में प्रदर्शित किया जा सकता है।
  3. एक्सल में स्कूल की समय-सारणी तैयार की जा सकती है।
  4. एक्सल में किसी भी कंपनी के कर्मचारियों की तनख्वाह की गणना की जा सकती है।
  5. विद्यार्थियों के नतीजै भी एक्सल में आसानी से तैयार किए जा सकते हैं।
  6. एक्सल में किसी भी प्रकार का डाटा स्टोर और और उस पर गणनाएं की जा सकती हैं।
प्रश्न 3. एम० एस० एक्सल में रिबन की व्याख्या करो ।
उत्तर – रिबन कमांड की एक सीरीज़ होती है जो एक मैन्यू का हिस्सा होती है। जब भी इस टैब में मैन्यू के ऊपर क्लिक किया जाता है तो उससे संबंधित रिबन दिखाई देता है जिसमें विभिन्न प्रकर की कमांडें प्रदर्शित की जाती हैं। इन कमांड्ज़ को विभिन्न ग्रुपों में विभाजित किया गया होता है। टूलबार तीन भागों को समूह कमांड्ज़ में व्यवस्थित करते हैं। ये निम्न अनुसार हैं –
  1. टैब (Tabs) – यह रिबन के ऊपर वाला भाग होता है, जिसमें संबंधित कमांडज़ में समूह होते हैं। होम, पेज़, लेआऊट, इंसर्ट, फार्मूला, डाटा, रिव्यू आदि टैबज़ की उदाहरणें हैं।
  2. ग्रुप (Group) – यह संबंधित कमांड का एक समूह होता है। प्रत्येक समूह का नाम रिबन के नीचे दिखाई देता है। उदाहरण के तौर पर फोन से संबंधित कमांड का ग्रुप या एलाइनमैंट से संबंधित कमांडज़ का ग्रुप।
  3. कमांड (Command) — इसके अंदर ऊपर दिए गए ग्रुप से संबंधित कमांडें दिखाई देती हैं।
प्रश्न 4. नेम बॉक्स क्या होता है ?
उत्तर – नेम बॉक्स फार्मूला बार के बाएं तरफ का पहला भाग होता है। इसमें एक्टिव सैल, रोअ या कॉलम का पता दिखाई देता है। इस बॉक्स का प्रयोग चुने हुए सैल को एक नाम देने के लिए भी किया जाता है।
प्रश्न 5. एम० एस० एक्सल में रोअ तथा कॉलम की व्याख्या करो ।
उत्तर – रोअ—रोअ एक साथ जुड़े हुए विभिन्न सैलों का समूह होता है। किसी भी रोअ को एक नंबर के साथ दर्शाया जाता है। यह नंबर एक्सल वर्कशीट के बाएं तरफ दिखाई देते हैं। रोअ के नंबर 1, 2, 3… की तरह होते हैं।
कॉलम–कोई भी कॉलम वर्टीकल एक साथ लगते सैलों का समूह होता है परंतु यह समूह आयताकार आकार में होता है। किसी भी कॉलम को A, B, C, D अल्फाबेट का नाम दिया जाता है। एक कॉलम को साधारणतया एक फील्ड के रूप में दर्शाया जाता है। एक्सल में आवश्यकता अनुसार कॉलम बढ़ाए जा सकते हैं।

बड़े उत्तरों वाले प्रश्न :

प्रश्न 1. एम०एस० एक्सल वर्कशीट के आधारभूत कार्य कौन-से हैं ?
उत्तर – एक्सल शीट में कई आधारभूत कार्य किए जा सकते हैं। यह सारे कार्य वर्कशीट के अंदर किए जाते हैं । इन कार्यों का वर्णन निम्न अनुसार किया गया है –
  1. डाटा एंट्री करना (Entering Data) – एक्सल की वर्कशीट में किसी भी किस्म में डाटा दाखिल किया जा सकता है। सैल में नया डाटा एंटर करने के लिए सबसे पहले करसर को उस स्थान / सैल पर ले जाया जाता है, जिसमें डाटा दाखिल करना है। उसको क्लिक करने के बाद सीधा कीअ – बोर्ड की मदद से उसमें डाटा टाइप किया जा सकता है। डाटा टाइप होने की प्रक्रिया खत्म होते ही एंटर कीअ दबाने से सैल में डाटा टाइप हो जाता है। इसके बाद अगले सैल में डाटा टाइप किया जा सकता है। इस कार्य के लिए टैब कीअ का प्रयोग भी किया जाता है। यदि हम किसी सैल में एक लंबी लाइन दाखिल करना चाहते हैं तो उसके लिए आल्ट और एंटर कीअ दबाकर डाटा दाखिल किया जा सकता है। एरो कीअ का प्रयोग एक्टिव सैल की स्थिति बदलने के लिए किया जाता है। यदि कोई सैल एडिट मोड में है तो एरो कीअ का प्रयोग करके उस कंटेंट के आगे पीछे जाया जा सकता है। किसी भी सैल को F2 कीअ का प्रयोग करके एडिट मोड शुरू किया जा सकता है। किसी भी सैल के अंदर दो प्रकार का डाटा दाखिल किया जाता है।
    1. फार्मूला या फंक्शन दाखिल करना – एक्सल में गणना करने के लिए फार्मूला या फंक्शन का प्रयोग किया जाता है। किसी फार्मूले या फंक्शन को बराबर (=) का चिन्ह लगाकर दाखिल किया जा सकता है
    2. फार्मूले या फंक्शन के बिना अन्य डाटा दाखिल करना – एक्सल के सैल में नंबर, टैक्सट, चिन्ह आदि सब कुछ दाखिल किया जा सकता है। इस प्रकार का डाटा दाखिल करने के लिए बराबर का निशान दाखिल नहीं किया जाता। यह डाटा सीधे ही सैल में दाखिल किया जा सकता है । –
  2. सैल का डाटा बदलना (Editing Cell Data) — एक्सल में किसी भी सैल का डाटा आवश्यकतानुसार बदला भी जा सकता है। किसी दाखिल किए हुए डाटा को दो प्रकार से बदला जा सकता है। एक तो उसी सैल में मौजूद रहकर, दूसरा फार्मूला बार में पहले उस सैल को F2 कीअ प्रेस करके एडिट मोड में शुरू किया जाता है। इस कार्य के लिए माऊस का बायां बटन दो बार भी दबाया जा सकता है। उसके बाद उस सैल में दाखिल डाटा को बदला जा सकता है।
  3. डाटा डिलीट करना (Deleting Data) – एक्सल में दाखिल किए गए डाटा को डिलीट भी किया जा सकता है। इसके लिए उस सैल का चुनाव किया जाता है, जिसका डाटा डिलीट करना है। डाटा डिलीट करने के लिए कम्प्यूटर से डिलीट कीअ दबाई जा सकती है। उस सैल में दाखिल किया सारा डाटा डिलीट हो जाएगा। यदि सैल में दाखिल किए डाटा से आंशिक डाटा डिलीट करना है तो उस सैल को पहले एडिट मोड में लाना पड़ेगा। फिर उस डाटा को डिलीट किया जा सकता है।
  4. सैल सिलैक्ट करना (Selecting Cells) – किसी भी सैल में डाटा जहां कोई फंक्शन, फार्मूला दाखिल करने के लिए उसे सिलैक्ट करना आवश्यक होता है। सैल का चुनाव करने के लिए माऊस का प्रयोग किया जाता है। जिस सैल का चुनाव करना हो उस पर माऊस बटन से क्लिक करें। एक से ज्यादा सैल का चुनाव करने के लिए शिफ्ट कीअ दबाकर माऊस को ड्रैग किया जा सकता है ।
प्रश्न 2. एम०एस० एक्सल की विशेषताओं के बारे में लिखो।
उत्तर – एम० एस० एक्सल की निम्नलिखित विशेषताएं हैं-
  1. आसान डाटा विश्लेषण – एम०एस० एक्सल बहुत ही बढ़िया तकनीकी टूल प्रदान करता है। इनकी सहायता से डाटा का विश्लेषण बहुत आसानी से किया जा सकता है । इन टूल्ज़ में शामिल हैं-सोर्टिंग फिल्टरिंग चार्ट, पायलट टेबल्स, गोल सीक आदि ।
  2. कंडीशनल फॉर्मेटिंग – एक्सल में विभिन्न प्रकार के डाटा को अपने नियमों तथा शर्तों के आधार पर फॉर्मेंट किया जा सकता है। यह डाटा तथा जानकारी के तथ्यों को विशेष तौर पर दर्शाने में मदद करता है ।
  3. डाटा वैलिडेशन – इस विशेषता की सहायता से डाटा को कुछ मापदंडों के आधार पर परिभाषित किया जा सकता है तथा इनपुट किए गए डाटा को वैलिडेट भी किया जा सकता है।
  4. डाटा को सेव करने तथा ढूंढने में आसानी – एक्सल में डाटा एंटर करने की कोई सीमा नहीं है। जो भी डाटा एक्सल में एंटर किया जाता है, उसको बड़ी आसानी से सेव किया जा सकता है। अधिक डाटा होने की सूरत में डाटा को ढूंढने के लिए भी कई प्रकार के तकनीक दी जाती है।
  5. फार्मूले का प्रयोग – एक्सल में डाटा विश्लेषण करने के लिए कई प्रकार के फंक्शन तथा फार्मूले दिए गए हैं। यूज़र अपनी आवश्यकता अनुसार अपने फार्मूले भी तैयार कर सकता है। जिनके साथ कार्य करना आसान हो जाता है तथा इसमें समय भी कम लगता है।
  6. डाटा प्रोटेक्शन – एक्सल की शीटों को विभिन्न प्रकार के पासवर्ड लगा कर डाटा को अनऑथराइज्ड यूज़र से सुरक्षित किया जा सकता है।
  7. संगठित डाटा – विभिन्न प्रकार के डाटा को अलग-अलग स्प्रैडशीट में सेव करने से यह सुविधाजनक हो जाता है तथा उसका विश्लेषण करना भी आसान हो जाता है ।
प्रश्न 3. वर्कबुक तथा वर्कशीट में अंतर बताओ ।
उत्तर – वर्कबुक तथा वर्कशीट में निम्नलिखित अंतर होते हैं-
वर्कबुक (Workbook) वर्कशीट (Worksheet)
1. वर्कबुक एम०एस० एक्सेल की बनाई गई एक फाइल होती है।
2. इसमें कई वर्कशीटें शामिल होती हैं ।
3. एक वर्कबुक के अंदर बहुत सारी वर्कशीटें हो सकती हैं।
4. प्रत्येक वर्कबुक को .xlsx एक्सटेंशन के साथ सेव किया जा सकता है।
5. वर्कबुक का प्रयोग विभिन्न किस्मों की वर्कशीटों को एक फाइल के रूप में सेव करने के लिए किया जाता है।
6. यह आकार में बड़ी होती है ।
7. प्रत्येक वर्कबुक की एक एक्सटेंशन (.xlsx) होती है।
1. वर्कशीट एम०एस० एक्सेल की स्प्रेडशीट को दर्शाती है।
2. इसमें रोअ तथा कॉलम शामिल होते हैं ।
3. वर्कशीट के अंदर कोई वर्कबुक मौजूद नहीं हो सकती क्योंकि वर्कशीट वर्कबुक का एक हिस्सा होती है।
4. वर्कबुक के बिना किसी भी वर्कशीट को सेव नहीं किया जा सकता ।
5. वर्कशीट का प्रयोग डाटा को दूर करने के लिए किया जाता है।
6. यह आकार में छोटी होती है।
7. वर्कशीट की कोई एक्सटेंशन नहीं होती ।

PSEB 8th Class Computer Guide एम०एस० एक्सल (भाग-1) Important Questions and Answers

रिक्त स्थान भरें :

1. एक्सल वर्कबुक में ……………… होती है ।
(क) वर्कशीट्स
(ख) रोअज
(ग) कॉलम
(घ) फार्मूला।
उत्तर – (क) वर्कशीट्स
2. सैल का असल मूल्य ……………………… बार में दिखाई देता है।
(क) टाइटल
(ख) मैन्यू
(ग) फार्मूला
(घ) कोई भी नहीं ।
उत्तर – (ग) फार्मूला
3. …………… फॉर्मेटिंग द्वारा एक या ज़्यादा नियम एक सैल पर लगाए जा सकते हैं ।
(क) फार्मूला
(ख) फंक्शन
(ग) कंडीशनल
(घ) कोई भी नहीं ।
उत्तर – (ग) कंडीशनल
4. फार्मेट कमांड ………………… टैब में होती है ।
(क) Home
(ख) Insert
(ग) Data
(घ) Formula
उत्तर – (क) Home
5. सारे फार्मूले ………………… से शुरू होने चाहिए।
(क) सिगमा
(ख) जमा चिन्ह
(ग) बराबर चिन्ह
(घ) कोई भी नहीं।
उत्तर – (ग) बराबर चिन्ह
6. वर्कशीट में डाटा …………………. द्वारा क्रमबद्ध किया जा सकता है ।
(क) फार्मूला
(ख) फंक्शन
(ग) फिल्टर
(घ) सोर्टिंग
उत्तर – (घ) सोर्टिंग

सही / ग़लत :

1. एक्सल का प्रयोग प्रेजेनटेशन देने के लिए किया जाता है l
उत्तर – गलत
2. वर्कशीट तथा वर्कवुक एक समान होती हैं ।
उत्तर – गलत
3. कालम तथा रोअ के काट क्षेत्र को सैल कहते हैं ।
उत्तर – सही
4. एक्सल फाईल की एक्सटेंशन .xlsx होती है ।
उत्तर – सही
5. सैल का चयन माऊस की सहायता से नहीं किया जा सकता ।
उत्तर – सही
6. एक्सल में तीन व्यू होते हैं ।
उत्तर – सही

छोटे उत्तरों वाले प्रश्न :

प्रश्न 1. कंट्रोल बटन क्या होते हैं ?
उत्तर – कंट्रोल बटन एक्सल विंडो के सबसे ऊपर की तरफ दिखाई देते हैं । यह तीन बटनों का समूह होता है जिनमें मैक्सिमाइज बटन, मिनिमाइज बटन तथा क्लोज बटन शामिल होते हैं ।
प्रश्न 2. फाइल टैब की व्याख्या करो ।
उत्तर – एम०एस० एक्सल की यह टैब फाइल को दर्शाती है। इसमें फाइल से संबंधित कुछ कमांडें होती हैं। इस मैन्यू में मौजूद मुख्य कार्य होते हैं – नया एक्सल दस्तावेज तैयार करना, एक मौजूदा फाइल को खोलना, खुली हुई फाइल को सेव करना, खुली हुई फ़ाइल को किसी अन्य नाम से सेव करना, फाइल को एक्सपोर्ट करना तथा फाइल को प्रिंट करना आदि ।
प्रस्न 3. एक्सल टैबज़ के बारे में लिखो।
उत्तर – एक्सल में टाइटल बार के नीचे कुछ टैबज़ दिखाई देती हैं। इन टैबज़ को मैन्यू बार भी कहा जाता है। इन टैब में फ़ाइल, होम, इंसर्ट, पेज लेआऊट, फार्मूले, डाटा, रिव्यू, व्यू आदि मैन्यू बार में शामिल होते हैं। यह मैन्यू की उप श्रेणियां होती हैं जो विभिन्न टूल्ज़ तथा कमांड को श्रेणीबद्ध करते हैं ।
प्रश्न 4. डायलॉग बाक्स लांचर क्या होता है ?
उत्तर – यह एक छोटा-सा तीर का निशान होता है जो रिबन के ऊपर किसी भी कमांड ग्रुप के निचले दाएं तरफ दिखाई देता है। इस पर क्लिक करने से उस ग्रुप से संबंधित और विकल्प दिखाई देते हैं। यह विकल्प साधारणतया एक डायलॉग बॉक्स में दिखाई देते हैं ।
प्रश्न 5 लीफ वार क्या होता है ?
उत्तर – एक्सल के सबसे नीचे भाग में फाइल में उपलब्ध सारी स्प्रेडशीट के नाम दिखाई देते हैं। इस भाग को लीफ बार कहा जाता है । साधारणतया ऐसी एक्सल फाइल खोलने पर उसमें तीन स्प्रेडशीट प्रदर्शित होती हैं। यूज़र अपनी आवश्यकता अनुसार इन स्प्रेडशीट को बड़ा तथा कम कर सकता है। इन स्प्रैडशीट के नाम भी बदले जा सकते हैं ।
प्रश्न 6. तीन प्रकार के व्यूज़ के बारे में लिखो।
उत्तर – एक्सल के तीन व्यूज़ निम्न प्रकार के होते हैं-
(i) नॉर्मल व्यू – यह बटन एक्सल स्प्रेडशीट को नार्मल रूप में प्रदर्शित करता है।
(ii) पेज लेआऊट व्यू – यह एक स्प्रेडशीट को उस रूप में प्रदर्शित करता है जिस रूप में वह प्रिंट होगी ।
(iii) पेज ब्रेक व्यू – यह व्यू पेज लेआऊट को आसानी से व्यवस्थित करने के लिए प्रिंट से पहले पेज ब्रेक प्रीव्यू में दिखाता है।

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